जय सद्गुरु स्वामी, जय सद्गुरु स्वामी,
सहजानंद दयालु, बलवंत बहुनामी।।
जय सद्गुरु स्वामी, जय सद्गुरु स्वामी,
चरणसरोज तमारां, वंदुं कर जोडी ,
चरणे शीश धर्याथी, दुःख नाख्यां तोडी।।
जय सद्गुरु स्वामी, जय सद्गुरु स्वामी,
नारायण मुनि त्राता, द्विजकुल तनु धारी,
पामर पतित उद्धार्या, अगणित नरनारी।।
जय सद्गुरु स्वामी, जय सद्गुरु स्वामी,
नित्य नित्य नौतम लीला, करता अविनाशी,
अड़सठ तीरथ चरणे, कोटि गया काशी।।
जय सद्गुरु स्वामी, जय सद्गुरु स्वामी,
पुरुषोत्तम प्रगटनुं जे दर्शन करशे
कालकर्मथी छूटी, कुटुंब सहित तरशे।।
जय सद्गुरु स्वामी, जय सद्गुरु स्वामी,
आ अवसर करुणानिधि, करुणा बहु कीधी
मुक्तानंद कहे मुक्ति सुगम करी सिद्धि॥
जय सद्गुरु स्वामी, जय सद्गुरु स्वामी,