Ram Nam Ke Hire    राम नाम के हीरे मोती

Ram Nam Ke Hire    राम नाम के हीरे मोती



लूट लो जिसका जी चाहे, मैं शोर मचाऊ गली गली

राम नाम के हीरे मोती, मैं बिखराऊँ गली गली।।

जिस जिसने ये हीरे लूटे, वे तो मालामाल हुए।

धन दोलत के जो बने पुजारी, आखिर वो कंगाल हुए।

राम कृष्ण और गौतम के, इतिहास सुनाऊँ गली गली।।

राम नाम के हीरे मोती, मैं बिखराऊँ गली गली।।

दौलत के दिवाने सुन लो, एक दिन ऐसा आयेगा।

धन यौवन रुप खजाना, यही धरा रह जायेगा।।

सुन्दर काया माटी होगी, चर्चा होगी गली गली।

राम नाम के हीरे मोती, मैं बिखराऊँ गली गली।।

मित्र प्यारे सगे सम्बन्धी, एक दिन तुझे भुलाएँगे।

जिनको तू अपना कहता है, अग्नि पर तुझे सुलाएँगे।।

जगत सराय दो दिन की है, आखिर होगी चला चली।

राम नाम के हीरे मोती, मैं बिखराऊँ गली गली।।

जिनको अपना कहकर बन्दे, तू इतना इतराता है।

छोड़ेंगे ये सब विपत्ति में, साथ कोई न जाता है।।

दो दिन का यह चमन खिला है, मुरझाएँगी कली कली।

राम नाम के हीरे मोती, मैं बिखराऊँ गली गली।।